जनजातीय कार्य विभाग का मामला!
17 करोड के निर्माण कार्य की निविदा में पारदर्शिता की कमी!
निर्माण कार्य को देखने वाला ही विभाग में नहीं है!
झाबुआ। जिले में करोडों के निर्माण कार्य किये जाने के लिए जनजातीय कार्य विभाग द्वारा निविदा सूचना जारी की गई। लेकिन, निविदा में पारदर्शिता की कमी देखने को मिल रही है। विभाग द्वारा ऑनलाइन बिड में जरूरी जानकारी अपलोड नही किए जाने से इस पर कई सवाल उठाए जा रहे है।
जनजातीय कार्य विभाग द्वारा जिले में निर्माण कार्य करवाये जाने हेतु दिनांक 23 दिसंबर को क्रमांक/1248/जजकावि/निर्माण/2024/8661 से निविदा आमंत्रण कि सूचना जारी कई है। जिसके अनुसार जिले के झाबुआ, थांदला, राम, पेटलावद और रानापुर विकास खण्ड में 10 निर्माण कार्य किये जाने है। इनमें आदिवासी कन्या आश्रम का भवन निर्माण कार्य मय विद्युतिकरण कार्य, आदिवासी बालक आश्रम का भवन निर्माण कार्य मय विद्युतिकरण कार्य, एकलव्य आदर्श आवासीय विद्यालय मे पेयजल कार्य, एकलव्य आदर्श आवासीय विद्यालय में सीमेंट कांक्रिट एप्रोच रोड निर्माण कार्य शामिल है। इन सभी निर्माण कार्य की लागत लभगभ 17 करोड है।
ऑनलाईन जानकारी नहीं दी!
जनजातीय कार्य विभाग द्वारा निविदा की बिड में एस्टीमेंट की जानकारी ऑनलाईन अपलोड नहीं कि गई। नाम नहीं छापने की शर्त पर ठेकेदारों ने बताया की एस्टीमेट अपलोड नहीं दिए जाने से जिले के बाहर के कई निविदाकारों (ठेकेदारों) को जानकारी के लिए झाबुआ आना पडेगा। जब की अन्य जिलों में जनजातीय कार्य विभाग में होने वाले निर्माण कार्यो की ऑनलाईन बिड में एस्टीमेंट अपलोड किया जाता है।
करोडों के निर्माण कार्य किसके भरोसे!
निविदा में उल्लेख है कि ठेकेदार को स्वीकृत कार्यो को गुणवत्तापूर्ण रूप से उपयुक्त सामग्री का उपयोग करते हुए विभागीय उपयंत्री के मार्गदर्शन में पूर्ण किया जाना अनिवार्य होगा। लेकिन, विभाग में उपयंत्री का मूल पद ही रिक्त है। और तकनिकी अधिकारी भी नहीं है। ऐसी स्थिति में करोडों के निर्माण कार्यो की गुणवत्ता को कौन देखेगा।
इस मामले में चर्चा करने के लिए सहायक आयुक्त, जनजातीय कार्य विभाग निशा मेहरा से संपर्क किया गया लेकिन उनसे संपर्क नहीं हो सका!
व्हाट्सएप्प ग्रुप से जुड़े
Join Now

